छपरा: छपरा (Chhapra) में हर घंटे जहरीली शराब से मौत का आंकड़ा एक-एक कर बढ़ता जा रहा हैं। अब तक 30 लोगों की जान जा चुकी हैं। 22 लोगों ने इलाज के दौरान दम तोड़ा, तो वहीं 05 लोगों मौत की मंगलवार देर रात हुई थी। ग्रामीणों की माने तो संदिग्ध स्थिति में अन्य 03 लोगों की भी मौत हुई हैं, जिनका पोस्टमॉर्टम नहीं कराया गया हैं। पुलिस ने मामले में 14 लोगों को हिरासत में लिया हैं। ये लोग कौन हैं, पुलिस ने फिलहाल यह स्पष्ट नहीं किया हैं।
मशरख और इसुआपुर इलाके में देसी शराब की बड़ी खेप पहुंची थी। जिसे 50 से ज्यादा लोगों ने पिया था। 20 से ज्यादा लोग अलग-अलग अस्पतालों में भर्ती हैं। सभी की हालत गंभीर बताई जा रही हैं। बताया जा रहा हैं कि सभी ने 20-20 रुपए में देसी शराब के पाउच खरीदकर पिए थे।
सभी लोग 1 किलोमीटर के दायरे में आसपास रहते हैं। डोयला इलाके में बड़े पैमाने पर देसी शराब बनती और बिकती हैं। प्रशासन की ओर से शराब से मौत की पुष्टि नहीं हुई हैं, लेकिन आसपास के लोगों का कहना हैं कि सभी ने शराब पी थी। इसके बाद उल्टी-दस्त की शिकायत होने लगी। थोड़ी देर में आंखों से दिखाई देना बंद हो गया।
जहरीली शराब से मौत पर मद्य निषेध मंत्री सुनील कुमार का अजीब बयान सामने आया हैं। उन्होंने कहा कि अंग्रेजों के जमाने में भी कानून बनते थे, तब भी कानून टूटता था। अंग्रेजों ने भी कानून बनाया, लेकिन इसके बाद भी रेप और हत्या हो रही हैं ना। शराबबंदी भी वैसे ही हैं। शराब बिक रही हैं तो पुलिस भी कार्रवाई कर रही हैं। शराब से मौत तो दूसरे राज्यों में भी हो रही हैं।
शराब पीने के बाद बिगड़ी तबीयत
परिवार ने बताया कि सभी ने शराब पी थी। जैसे ही घर लौटे तो कुछ देर बाद तबीयत बिगड़ने लगी। अचानक से तेज बुखार चढ़ गया। उल्टियां होने लगीं। पेट दर्द की शिकायत होने लगी। अस्पताल ले जाने के दौरान ही मंगलवार को 03 लोगों की मौत हो चुकी थी। बाकी की इलाज के दौरान मौत हुई हैं।
गिरिराज बोले बिहार में शराब भगवान की तरह
गिरिराज सिंह बोले शराब से रोज मौत हो रही हैं। नीतीश कुमार अपनी जिद पर पड़े हैं। बिहार में शराब भगवान की तरह हो गई। जैसे भगवान दिखते नहीं लेकिन सब जगह हैं। वैसे ही बिहार में शराबबंदी हैं, लेकिन सब जगह मिलती हैं। नीतीश कुमार के अंडर में ही बिहार में शराब बिक रही हैं। नीतीश को लगता हैं कि ये बीजेपी ने कराया हैं तो कार्रवाई करें। कौन मना कर रहे हैं।